Thursday, March 10, 2011
कांग्रेसी प्रोटोकॉल से परे है युवराज
8:50 AM
shailendra gupta
नई दिल्ली
राहुल डबास
कभी बिग बी के लिये कहा जाता था, कि वो जहा ख़ड़े हो जाते है , लाइन वहीं से शुरु होती है। लेकिन अब यह कहावत कम से कम कांग्रेस में तो युवराज राहुल के लिये सटीक साबित होती नज़र आती हैं। कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी की पार्टी में बड़ी भूमिका को लेकर वैसे तो पार्टी में कोई सवाल नहीं हो सकता है,लेकिन अब वे पार्टी के कागज-पत्र में भी आम से खास भूमिका में आ गए हैं। कांग्रेस पदाधिकारियों की सूची अमूमन अल्फाबेट के हिसाब से ही तैयार होती रही है। मगर राहुल के लिए इसे इगनोर किया गया।
अल्फाबेट के क्रम में आर शब्द के आते-आते कांग्रेस महासचिवों की सूची में राहुल गांधी पिछले पायदान पर खिसक जाते, मगर ऐसा नहीं होने दिया गया। 19 फरवरी को पार्टी ने जब संगठन फेरबदल की सूची जारी की थी तो महासचिवों की सूची में उनका नाम आठवें नंबर पर रखा गया था। जबकि कार्यसमिति सदस्यों की सूची में वे अल्फाबेट के हिसाब से 18 वें नंबर पर थे।लेकिन 4 मार्च को एआईसीसी फेरबदल की ताजा सूची जारी हुई तो पार्टी ने अपने युवा नेता के लगातार बढ़ते रसूख का खास ख्याल रखते हुए उन्हें महासचिवों की सूची में पहले पायदान पर रखा। राहुल के बाद शुरू हुआ अल्फाबेट का क्रम। राहुल से ऊपर बतौर कोषाध्यक्ष मोतीलाल वोरा को जगह दी गई।





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